रघुनाथ मंदिर का इतिहास - Raghunath Mandir in Hindi

रघुनाथ मंदिर का इतिहास - Raghunath Mandir in Hindi, इसमें श्रीमाधोपुर के ऐतिहासिक रघुनाथ जी मंदिर के बारे में इतिहास सहित पूरी जानकारी दी गई है।

Raghunath Mandir in Hindi

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रघुनाथ जी का मंदिर श्रीमाधोपुर कस्बे के मध्य में राजपथ पर राजकीय सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र के सामने स्थित है।

प्राप्त जानकारी के अनुसार इस मंदिर का निर्माण गोविन्दगढ़ निवासी कानूनगो परिवार ने श्रीमाधोपुर की स्थापना के समय ही करवाया था।

मंदिर निर्माण के पश्चात इसे सेवा पूजा कार्य के लिए जयपुर राज दरबार के पुजारियों को सौंप दिया गया था। लम्बे समय तक मंदिर की पूजा तथा सेवा कार्य का दायित्व जयपुर राजघराने के सिटी पैलेस स्थित रानी सती मंदिर के पुजारियों के सानिध्य तथा देखरेख में संपन्न होता रहा।

उस समय पुजारियों का इतना अधिक सम्मान होता था कि मंदिर की देख रेख के लिए जब जयपुर से महंत श्रीमाधोपुर आते थे तब यहाँ के निवासी उन्हें रेलवे स्टेशन से पालकी में बैठाकर गाजे बाजे के साथ रघुनाथ जी के मंदिर तक लाते थे।

काफी समय तक जयपुर के महंतों तथा पुजारियों के वंशजों ने ही मंदिर के संचालन तथा देखरेख का जिम्मा उठाया। इनमें महंत गोपीदास, महंत आत्माराम दास तथा महंत राजेशदास का नाम प्रमुख रूप से लिया जाता है।

वर्ष 1960 से मंदिर की सेवा तथा देखरेख का कार्य हरिशंकर नाणकाजोशी द्वारा जयपुर के महंत राजेश दास जी की सानिध्यता में किया जाता रहा।

हरिशंकर जी के स्वर्गवास के पश्चात वर्ष 1986 से मंदिर के सेवा कार्य की जिम्मेदारी उनके पुत्र बुद्धि प्रकाश नाणकाजोशी द्वारा कुशलता से निभाई जा रही है। वर्तमान में इनके साथ इनके पुत्र राकेश भी मंदिर की सेवा कार्य में पूर्ण तत्परता से लगे हुए हैं।


भूतकाल में इस मंदिर के अंतर्गत चौदह कोठियाँ हुआ करती थी जो जयपुर राज घराने द्वारा मंदिर को प्रदत्त थी। सम्पूर्ण मंदिर परिसर करीब पाँच बीघा भूमि में फैला हुआ था तथा चारों तरफ से चार चौराहों द्वारा घिरा हुआ था।

वर्तमान में यह मंदिर बहुत कम भूमि में बना हुआ है तथा चारों चौराहों तक की भूमि पर आवासीय तथा व्यावसायिक निर्माण हो गए हैं।

मंदिर में वर्ष भर के सम्पूर्ण प्रमुख त्यौहार तथा उत्सव धूमधाम तथा उल्लास के साथ मनाए जाते हैं। इन त्यौहारों में प्रमुख रूप से रामनवमी, राम जानकी विवाह, शरद पूर्णिमा, श्रावण माह के झूलों का उत्सव आदि शामिल है। अक्सर मंदिर परिसर में भजन कीर्तन तथा अन्य धार्मिक कार्य संपन्न होते रहते हैं।

राम जन्मोत्सव समिति द्वारा रामनवमी पर कस्बे के बाजारों में पताका वितरण कर झाँकी के स्वरूप में रामनवमी, अन्नकूट, जन्माष्टमी तथा फूलडोल उत्सव आदि प्रमुख रूप से शामिल हैं।

रघुनाथ मंदिर के इतिहास का वीडियो - Video of Raghunath Mandir



रघुनाथ मंदिर के इतिहास की फोटो - Photos of Raghunath Mandir


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लेखक (Writer)

रमेश शर्मा {एम फार्म, एमएससी (कंप्यूटर साइंस), पीजीडीसीए, एमए (इतिहास), सीएचएमएस}

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Ramesh Sharma

My name is Ramesh Sharma. I love to see old historical monuments closely, learn about their history and stay close to nature. Whenever I get a chance, I leave home to meet them. The monuments that I like to see include ancient forts, palaces, stepwells, temples, chhatris, mountains, lakes, rivers etc. I also share with you the monuments that I see through blogs and videos so that you can also benefit a little from my experience.

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