धार्मिक मुद्दों का राजनीति में समावेश - धर्म और राजनीति दो अलग-अलग ध्रुव है जिनका स्वभाव एक दूसरे से बहुत अलग है तथा इनको पास-पास लाना बहुत खतरनाक साबित हो सकता है।
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डोनाल्ड ट्रम्प की विजय से विश्व में घबराहट का माहौल - अमेरिका में जैसे-जैसे राष्ट्रपति चुनाव के परिणाम सामने आने लगे वैसे-वैसे सारे के सारे ओपिनियन पोल्स की पोल खुलना शुरू हो गई।
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मोदी सरकार का सही कदम - काले धन के खिलाफ लड़ाई की बातें पिछले कई वर्षों से चलती आ रही है परन्तु किसी भी सरकार ने ईमानदारी के साथ कोई विशेष कदम नहीं उठाया।
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स्वस्थ लोकतंत्र के लिए निष्पक्ष और निर्भीक मीडिया की जरूरत - आखिरकार भारत सरकार ने एनडीटीवी पर एक दिन के घोषित प्रतिबन्ध को स्थगित कर अपनी किरकिरी होने से बचा लिया।
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दिल्ली में बढ़ते प्रदूषण के लिए जिम्मेदार कौन - दिल्ली के प्रदूषण की चर्चा काफी वर्षों से हो रही है परन्तु इस पर खासा ध्यान अभी हाल ही के कुछ वर्षों में गया है जब दिल्ली में आम आदमी पार्टी की सरकार ने ओड इवन नियम बनाकर उसे परखा।
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बिना अधिकारों वाला मुख्यमंत्री - क्या हमने पहले भी इस तरह के दृश्य देखे हैं कि जब किसी मुख्यमंत्री को उसके ही राज्य में पुलिस ने किसी से मिलने के लिए हिरासत में ले लिया हो?
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घर घर की कहानी - सुनील की माताजी का स्वभाव कुछ कठोर किस्म का था और वो सास के ओहदे पर पूर्ण शिद्दत के साथ विराजमान थी।
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नाम में छोटू लेकिन काम में वयस्क - “छोटू” नाम से हम सभी परिचित हैं तथा आये दिन हम भी जाने अनजानें में इस नाम को पुकारते हैं।
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समाज पर फिल्मों का प्रभाव - कहते हैं कि फिल्में समाज का आईना होती है। फिल्में और समाज एक दूसरे के पूरक होते हैं क्योंकि अक्सर फिल्मों में वो सब कुछ ही दिखाया जाता है जो समाज में घटित हो रहा होता है।
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स्मार्टफोन इंसान के जीवन का अभिन्न अंग - कुछ दशकों पहले किसी ने कल्पना भी नहीं की होगी कि भविष्य में स्मार्टफोन नाम की किसी चीज का अविष्कार होगा और वह इंसानी जीवन का एक महत्वपूर्ण अंग बन जाएगी।
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बेटी और बहू - नीता की शादी की तारीख जैसे-जैसे नजदीक आती जा रही थी वैसे-वैसे घर में चहल पहल बढ़ती जा रही थी। घर में मेहमानों का जमघट लगना शुरू हो गया था।
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अर्जुन पुरस्कार विजेता बास्केटबॉल खिलाड़ी राधेश्याम बिजारनियाँ - कहते हैं कि पूत के पैर पालने में ही दिखने लग जाते हैं।
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बस का सफर - आज ऑफिस के लिए देर हो रही थी इसलिए मैं जल्दी-जल्दी घर से ऑफिस के लिए निकल पड़ा। मेरा ऑफिस घर से करीब चालीस किलोमीटर दूर स्थित है और मुझे वहाँ पहुचनें के लिए पास ही के बस स्टॉप से रोज बस पकड़नी पड़ती है।
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पृथ्वी और पर्यावरण के प्रति जिम्मेदारियाँ - हमारी पृथ्वी के लिए सबसे बड़ा खतरा हमारा यह विश्वास है कि हमें इसे बचानें की कोई जरुरत नहीं है तथा कोई और इसे बचा लेगा।
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खेलकूद में राजनीति का दखल - आज का युग, सूचना प्रौधोगिकी का युग हैं जिसमे खेलकूद का एक प्रमुख स्थान हैं। खेलकूद खिलाड़ियों के साथ साथ इससे जुड़े दूसरे कई लोगों के लिए दुधारू गाय बन गया हैं।
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विलुप्त होता हुआ खेल गिल्ली डंडा - आज की पीढ़ी के सामने अगर गिल्ली डंडा नाम के खेल का जिक्र किया जाये तो उन्हें इस खेल का नाम सुनकर बहुत आश्चर्य होगा।
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आजादी और वर्तमान परिस्थितियाँ - हम हर वर्ष आजादी का पर्व मनाते हैं परन्तु हमने कभी सोचा है कि क्या जिस आजादी का सपना हमारे आजादी के दीवानों ने देखा था वो आजादी हमने हासिल कर ली है?
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सुंदरता में चार चाँद लगा देती है रेशमी जुल्फें - जुल्फों की तारीफ में पता नहीं क्या-क्या कहा गया है। जुल्फों का शरीर की सुन्दरता में अपना एक अलग स्थान है।
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